प्रोजेक्ट चीता: दक्षिण अफ्रीका से शनिवार को आयेंगे 12 चीते, मध्य प्रदेश के कूनो नेशनल पार्क की बढ़ायेंगे शोभा

डीएन ब्यूरो

शनिवार को 12 चीतों को कूनो नेशनल पार्क (केएनपी) में उनके बाड़ों में छोड़ा जायेगा। इन चीतों को दक्षिण अफ्रीका से यहां भारतीय वायुसेना के परिवहन विमान से लाया जा रहा है। पूरी खबर डाइनामाइट न्यूज़ पर

फाइल फोटो
फाइल फोटो


भोपाल: मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और केंद्रीय मंत्री भूपेंद्र यादव शनिवार को 12 चीतों को कूनो नेशनल पार्क (केएनपी) में उनके बाड़ों में छोड़ेंगे, इन चीतों को दक्षिण अफ्रीका से यहां भारतीय वायुसेना के परिवहन विमान से लाया जा रहा है। एक अधिकारी ने यह जानकारी दी।

इन 12 चीतों में सात नर और पांच मादा हैं और कूनो आने वाले चीतों का यह दूसरा जत्था है। इससे पहले नामीबिया से आठ चीतों के पहले जत्थे को पिछले साल 17 सितंबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कूनो के बाड़ों में छोड़ा था।

मध्यप्रदेश के वन बल (एचओएफएफ) प्रमुख रमेश गुप्ता ने बृहस्पतिवार को पीटीआई-भाषा को बताया, ‘‘वे शनिवार की सुबह 11 बजे दक्षिण अफ्रीका से मध्यप्रदेश पहुंचेंगे। प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और केंद्रीय पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्री भूपेंद्र यादव उन्हें बाड़ों में छोड़ेंगे।’’

यह भी पढ़ें | गुजरात: कच्छ में भारतीय वायुसेना का विमान क्रैश, पायलट संजय चौहान शहीद

गुप्ता ने बताया कि ये 12 चीते जिनमें सात नर और पांच मादा शामिल हैं, सुबह ग्वालियर पहुंचेंगे और सुबह 11 बजे केएनपी के बाड़ों में छोड़े जाएंगे।

डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के मुताबिक केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर और नागरिक उड्डयन मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया के इस अवसर पर उपस्थित होने की संभावना है।

दक्षिण अफ्रीका से भारतीय वायुसेना के परिवहन विमान से ग्वालियर पहुंचने के तीस मिनट बाद, इन चीतों को भारतीय वायुसेना के हेलीकॉप्टरों से केएनपी ले जाया जाएगा।

यह भी पढ़ें | सीबीआई ने भ्रष्टाचार के मामले में रोल्स-रॉयस, अधिकारियों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की

भारत में अंतिम चीते की मृत्यु वर्तमान छत्तीसगढ़ के कोरिया जिले में 1947 में हुई थी और इस प्रजाति को 1952 में विलुप्त घोषित कर दिया गया था।

पूर्व केंद्रीय पर्यावरण मंत्री जयराम रमेश ने संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (यूपीए) सरकार के तहत 2009 में भारत में चीतों को फिर से लाने के उद्देश्य से 'प्रोजेक्ट चीता' की शुरुआत की थी।

 










संबंधित समाचार