INX MEDIA मामले में चिदंबरम को एक और नया झटका
पूर्व वित्त मंत्री पी चिदंबरम को बृहस्पतिवार को उस समय बड़ा झटका लगा जब उच्चतम न्यायालय ने आईएनएक्स मीडिया धनशोधन मामले में नया झटका मिला है। यह मामला प्रवर्तन निदेशालय ने दर्ज किया है।
नई दिल्ली: पूर्व वित्त मंत्री पी चिदंबरम को बृहस्पतिवार को उस समय बड़ा झटका लगा जब उच्चतम न्यायालय ने आईएनएक्स मीडिया धनशोधन मामले में उन्हें अग्रिम जमानत देने से इंकार कर दिया। यह मामला प्रवर्तन निदेशालय ने दर्ज किया है। शीर्ष अदालत ने चिदंबरम को अग्रिम जमानत देने से इंकार करने वाले दिल्ली उच्च न्यायालय के 20 अगस्त के फैसले को चुनौती देने वाली कांग्रेस नेता की अपील खारिज करते हुये कहा कि आर्थिक अपराध के मामलों में अलग अलग तरीके से निबटना होगा क्योंकि यह देश की अर्थव्यवस्था को प्रभावित करते हैं।
After Supreme Court dismissed the anticipatory bail plea of Congress leader P. Chidambaram being probed by ED in INX media case, he withdraws his appeal from the Court challenging trial court’s order of sending him to CBI custody. (File Pic) pic.twitter.com/CEicgAXdC6
— ANI (@ANI) September 5, 2019
न्यायमूर्ति आर भानुमति और न्यायमूर्ति ए एस बोपन्ना की पीठ ने अपने आदेश में कहा कि यह अग्रिम जमानत देने के लिये उचित मामला नहीं है। पीठ ने कहा कि इस समय चिदंबरम को अग्रिम जमानत देने से जांच प्रभावित हो सकती है। पीठ ने कहा कि जांच एजेन्सी को इस मामले में अपनी जांच करने के लिये पर्याप्त स्वतंत्रता दी जानी चाहिए।
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Supreme Court says P Chidambaram can move regular bail application before the trial court, for regular bail. https://t.co/3TaMYpzfxj
— ANI (@ANI) September 5, 2019
शीर्ष अदालत ने चिदंबरम की वह अर्जी भी खारिज कर दी जिसमे यह अनुरोध किया गया था कि तीन तारीखों पर उनसे की गयी पूछताछ की लिपि पेश करने का प्रवर्तन निदेशालय को निर्देश दिया जाये। न्यायालय ने कहा कि उसे मुकदमे की सुनवाई शुरू होने से पहले ही केस डायरी का अवलोकन करने का अधिकार है परंतु उसने प्रवर्तन निदेशालय द्वारा सीलबंद लिफाफे में पेश दस्तावेजों का अवलोकन करने से गुरेज किया है क्योंकि इससे दूसरे अभियुक्तों मामला प्रभावित हो सकता था।
Supreme Court rejects an appeal of Congress leader P Chidambaram against the Delhi High Court’s order rejecting his anticipatory bail plea in a case being probed by Enforcement Directorate (ED) in INX Media case. pic.twitter.com/A5sYeoBQ0g
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— ANI (@ANI) September 5, 2019
पीठ ने कहा कि अग्रिम जमानत प्राप्त करने का अधिकार नहीं है और इससे इंकार करने से संविधान के अनुच्छेद 21 का उल्लंघन नहीं होता है। हालांकि, शीर्ष अदालत ने कहा कि चिदंबरम नियमित जमानत के लिये संबंधित अदालत में याचिका दायर कर सकते हैं। (भाषा)