Pakistan Election: पाकिस्तान की अदालतों में याचिकाओं की बाढ़, आम चुनाव में जमकर धांधली
पाकिस्तान की अदालतों में याचिकाओं की बाढ़ आ गई है क्योंकि जेल में बंद पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान की पार्टी द्वारा समर्थित कई उम्मीदवारों ने चुनावी धांधली का आरोप लगाते हुए आम चुनाव के नतीजों को चुनौती दी है। पढ़िये डाइनामाइट न्यूज़ की पूरी रिपोर्ट
इस्लामाबाद: पाकिस्तान की अदालतों में याचिकाओं की बाढ़ आ गई है क्योंकि जेल में बंद पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान की पार्टी पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ द्वारा समर्थित कई उम्मीदवारों ने चुनावी धांधली का आरोप लगाते हुए आठ फरवरी को हुए आम चुनाव के नतीजों को चुनौती दी है।
अधिकांश याचिकाएं लाहौर उच्च न्यायालय में दायर की गईं, जबकि खान की पार्टी समर्थित दो उम्मीदवारों ने चुनाव परिणामों के खिलाफ इस्लामाबाद उच्च न्यायालय का रुख किया और कम से कम तीन याचिकाएं सिंध उच्च न्यायालय में दायर की हैं।
पाकिस्तान के निर्वाचन आयोग ने रविवार को आम चुनाव के अंतिम परिणाम घोषित किए, जिसमें खान की पार्टी द्वारा समर्थित निर्दलीय उम्मीदवारों ने 101 सीट पर जीत दर्ज की है।
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वहीं, तीन बार के पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ की पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) 75 सीट जीतकर तकनीकी रूप से संसद में सबसे बड़ी पार्टी के रूप में उभरी है।
बिलावल जरदारी भुट्टो की पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी को 54 सीट मिली, जबकि विभाजन के दौरान भारत से आए उर्दू भाषी लोगों की मुत्ताहिदा कौमी मूवमेंट पाकिस्तान (एमक्यूएम-पी) को 17 सीट हासिल हुई है। बाकी 12 सीट पर अन्य छोटे दलों ने जीत हासिल की।
लाहौर उच्च न्यायालय में दायर याचिकाओं में पीएमएल-एन सुप्रीमो नवाज शरीफ और उनकी बेटी मरियम नवाज की जीत को चुनौती दी गई।
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ऐसी याचिकाएं दायर करने वालों में से अधिकांश लोग खान की पार्टी समर्थित निर्दलीय उम्मीदवार हैं। याचिकाएं दायर करने वालों में पंजाब के पूर्व मुख्यमंत्री परवेज इलाही और उनकी पत्नी कैसर, खैबर पख्तूनख्वा के पूर्व वित्त मंत्री तैमूर झागरा और खैबर पख्तूनख्वा के पूर्व विधानसभा अध्यक्ष महमूद जान जैसे राजनीतिक नेता शामिल हैं।
लाहौर में, पूर्व प्रधानमंत्री शरीफ, उनकी बेटी मरयम और पूर्व रक्षा मंत्री ख्वाजा आसिफ की जीत को चुनौती दी गई है।