सड़क हादसों की डराने वाली रिपोर्ट, एक साल हुई 7,700 चालकों की मौत, ये लापरवाही रही सबसे बड़ी वजह
महाराष्ट्र में पिछले साल सड़क हादसे में लगभग 15,000 लोगों की मौत हुई, जिसमें 7,700 लोग दोपहिया वाहन चालक थे। पढ़िये पूरी खबर डाइनामाइट न्यूज़ पर
मुंबई: महाराष्ट्र में पिछले साल सड़क हादसे में लगभग 15,000 लोगों की मौत हुई, जिसमें 7,700 लोग दोपहिया वाहन चालक थे। एक अधिकारी ने यह जानकारी दी।
डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार, राज्य परिवहन आयुक्त द्वारा पिछले सप्ताह जारी एक परिपत्र में साझा किये गये आंकड़ों के मुताबिक, ज्यादातर दोपहिया वाहन चालकों की मौत हेलमेट नहीं पहनने के कारण सिर में चोट लगने की वजह से हुई।
एक अधिकारी ने बताया कि इस स्थिति के मद्देनजर राज्य परिवहन विभाग ने अपने कर्मचारियों को, दोपहिया वाहन चालकों को सुरक्षा के महत्व और इससे संबंधित प्रावधानों को समझाने और परामर्श देने के वास्ते एक राजव्यापी अभियान शुरू करने का निर्देश दिया है।
इस साल की शुरुआत में सामने आए आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, 2022 में राज्य में सड़क दुर्घटनाओं में कुल 14,883 लोग मारे गए, जो 2019 में सड़क दुर्घटना में हुई मौत के 12,788 मामलों की तुलना में 2,095 अधिक है।
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परिवहन आयुक्त ने परिपत्र के माध्यम से बताया कि पिछले साल सड़क दुर्घटना में जितने लोगों की मौत हुई उनमें 51 प्रतिशत (7,700) लोग दोपहिया वाहन चालक थे, इनमें अधिकतर घटनाएं हेलमेट नहीं पहनने की वजह से सिर में चोट लगने के कारण हुई।
परिपत्र में स्थिति को बेहद चिंताजनक बताते हुए कहा गया है, ‘‘यह देखा गया है कि 2030 तक सड़क दुर्घटनाओं में 50 फीसदी की कमी लाने के विश्व स्वास्थ्य संगठन के लक्ष्य को हासिल करने के लिए जारी दिशा-निर्देशों का सख्ती से पालन नहीं किया जा रहा है।’’
अधिकारी ने कहा, ‘‘परिवहन आयुक्त ने सभी क्षेत्रीय परिवहन कार्यालयों (आरटीओ) को निर्देश दिया है कि सड़क हादसों के मामलों में कमी लाने के लिये कम उम्र के बच्चों के वाहन चलाने पर अंकुश लगाया जाये और 18 साल से कम उम्र के लोगों पर मोटर वाहन अधिनियम के तहत जुर्माना लगाया जाए।’’
उन्होंने आगे कहा, ‘‘परिपत्र में यह भी बताया गया है कि मोटर वाहन अधिनियम की धारा 199 (ए) के तहत ऐसे नाबालिगों के माता-पिता पर 25,000 रुपये का जुर्माना लगाने तथा नाबालिगों को 25 साल की उम्र तक लाइसेंस जारी नहीं करने का प्रावधान है। वहीं, आरटीओ अधिकारियों को इस बाबत नाबालिगों के माता-पिता को परामर्श देने के लिये भी कहा गया है।’’
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अधिकारी ने कहा कि लोगों को गति प्रतिबंध, एक से अधिक सवारी बैठाने और हेलमेट पहनने की अनिवार्यता के बारे में जागरूकता बढ़ाने के लिए परामर्श भी दिया जाना चाहिए।
परिपत्र में आरटीओ अधिकारियों को यह सुनिश्चित करने का भी निर्देश दिया गया है कि दोपहिया वाहन निर्माता कंपनी वाहन खरीदते वक्त खरीदारों को दो हेलमेट प्रदान करें।