कानपुर से आकर लखनऊ में लूटपाट करने वाले गिरोह का भंडाफोड़, 3 शातिर पहुंचे जेल
लखनऊ पुलिस ने एक ऐसे गिरोह को पकड़ने में सफलता पाई है, जो कानपुर से आकर लखनऊ के विभिन्न क्षेत्रों में चोरी और लूट की वारदातों को अंजाम देता था। पुलिस को इस गिरोह की तलाश काफी लंबे समय से थी।
लखनऊ: लंबे समय से लूट और चोरी की वारदातों को अंजाम देने वाले एक शातिर गिरोह का पुलिस ने पर्दाफाश किया है। यह गिरोह वारदातों को अंजाम देने के बाद कानपुर समेत अन्य शहरों में भाग जाता था ताकि वह पुलिस की गिरफ्त में न आ सके। आखिरकार पुलिस ने बड़ी मशक्कत के बाद इस गिरोह के तीन सदस्यों को धर दबोचा। पुलिस ने इस गिरोह के पास से 2 तमंचे, कई कारतूस और भारी मात्रा में गहने और नगदी बरामद की है।
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घटना की जानकारी देते हुए एसपी पूर्वी सर्वेश कुमार मिश्रा ने बताया कि पकड़े गए तीनों आरोपियों के नाम दिनेश प्रजापति पुत्र महावीर प्रजापति, नन्हे लंगड़ा पुत्र रतन लाल रैदास, धर्मेंद्र सिंह पुत्र वीरेंद्र सिंह हैं। तीनों आरोपी कानपुर के रहने वाले हैं।
दिन में मकानों की रेकी, रात को लूट
एसपी पूर्वी सर्वेश कुमार मिश्रा ने बताया कि लुटेरों का यह गिरोह दिन में मकानों की रेकी करता था और रात में चोरी और लूट की वारदातों को अंजाम देता था। इन तीनों आरोपियों के खिलाफ कानपुर के कई थानों में गैंगस्टर समेत कई मामलों में केस दर्ज है। यह गिरोह लखनऊ के पारा थाना क्षेत्र में विशेष रूप से सक्रिय था। मुखबिर की सूचना पर पुलिस ने गिरोह के तीनों आरोपियों को काकोरी नहरिया मोड़ के पास से गिरफ्तार किया गया है।
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वारदात को अंजाम देते समय गिरोह का सदस्य धर्मेंद्र सिंह मकान के बाहर तमंचे के साथ पहरा देता था। अन्य आरोपी दिनेश प्रजापति और नन्हे लंगड़ा घरों में घुसकर वारदातों को अंजाम देते थे। आरोपी वारदातों को अंजाम देने के बाद वापस कानपुर चले जाते थे, ताकि इन पर किसी को शक न हो। पुलिस उनसे पूछताछ कर इनके दूसरे साथियों और दूसरे मामले का खुलासा करने में लगी है। इनके खिलाफ पहले से ही कानपुर में मुकदमा संख्या 575, 396, 503, 594,598, 534, 589 532 समेत 380, 411, 457 धाराओं के तहत केस दर्ज है।