यूपी नगर निकाय चुनावों में सभी सीटों के परिणाम घोषित, जानिये हार-जीत के अंतिम और दिलचस्प आंकडे
उत्तर प्रदेश में दो चरणों में हुए नगर निकाय चुनावों में रविवार दोपहर तक सभी सीटों के परिणाम घोषित कर दिये गये। इस चुनाव में जहां सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने सभी 17 नगर निगमों के महापौर सीट पर एकतरफा कब्जा कर लिया, वहीं नगर पालिका परिषद और नगर पंचायतों में भी विपक्षी दलों को बहुत पीछे छोड़ दिया है। पढ़ें पूरी रिपोर्ट डाइनामाइट न्यूज़ पर
लखनऊ: उत्तर प्रदेश में दो चरणों में हुए नगर निकाय चुनावों में रविवार दोपहर तक सभी सीटों के परिणाम घोषित कर दिये गये। इस चुनाव में जहां सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने सभी 17 नगर निगमों के महापौर सीट पर एकतरफा कब्जा कर लिया, वहीं नगर पालिका परिषद और नगर पंचायतों में भी विपक्षी दलों को बहुत पीछे छोड़ दिया है।
अधिकतर सीटों के परिणाम शनिवार की देर रात तक घोषित कर दिए गए थे, लेकिन रविवार की सुबह तक मैनपुरी नगर पालिका परिषद के अध्यक्ष, जौनपुर जिले की खेतासराय नगर पंचायत अध्यक्ष और रामपुर जिले में एक नगर पंचायत में सदस्य का परिणाम घोषित नहीं हो सका था।
हालांकि, रविवार दोपहर तक सभी परिणाम घोषित हो गये। मैनपुरी नगर पालिका परिषद के अध्यक्ष का चुनाव भाजपा उम्मीदवार ने जबकि नगर पंचायत खेतासराय में अध्यक्ष पद पर सपा उम्मीदवार ने चुनाव जीता है।
राज्य निर्वाचन आयोग (एसईसी) की वेबसाइट के अनुसार, नगर निगम के महापौर के लिए 17 सीटों पर और 1420 पार्षदों के परिणाम घोषित किये जा चुके हैं। इसके अलावा, 199 नगर पालिका परिषदों के अध्यक्ष और नगर पालिका परिषदों में 5327 सभासदों तथा 544 नगर पंचायत अध्यक्षों और 7177 नगर पंचायत सदस्यों के सभी परिणाम घोषित हो गये।
भाजपा ने राज्य की सभी 17 नगर निगमों में महापौर की सीटों पर एकतरफा जीत हासिल की और विपक्षी दलों का खाता भी नहीं खुला।
आयोग ने बताया कि भाजपा को अयोध्या, लखनऊ, वाराणसी और गोरखपुर के अलावा अलीगढ़, आगरा, कानपुर नगर, प्रयागराज, गाजियाबाद, झांसी, मेरठ, मुरादाबाद, सहारनपुर, मथुरा-वृंदावन, बरेली, शाहजहांपुर और फिरोजाबाद नगर निगमों में महापौर पद पर जीत मिली है।
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आयोग के अनुसार, अब तक नगर निगमों में भाजपा ने सभी 17 महापौर, 813 पार्षद, नगर पालिका परिषदों में 89 अध्यक्ष और 1360 सभासद, 191 नगर पंचायत अध्यक्ष और 1403 वार्ड में सदस्य के पदों पर जीत हासिल की है।
राज्य के मुख्य विपक्षी दल सपा ने नगर निगमों में 191 पार्षद, 35 नगर पालिका परिषदों के अध्यक्ष एवं 425 सभासद तथा 79 नगर पंचायत अध्यक्ष व 485 वार्ड सदस्य के पदों पर चुनाव जीता है।
बहुजन समाज पार्टी ने नगर निगमों में 85 पार्षद, 16 नगर पालिका परिषदों के अध्यक्ष और 191 सभासदों के अलावा 37 नगर पंचायत अध्यक्ष और 215 वार्ड सदस्यों के पदों पर विजय हासिल की। कांग्रेस ने नगर निगमों में 77 पार्षद, चार नगर पालिका परिषदों में अध्यक्ष व 91 सभासद तथा 14 नगर पंचायत अध्यक्ष 77 वार्ड सदस्य के पदों पर चुनाव जीता।
असदुद्दीन ओवैसी के नेतृत्व वाले ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (एआईएमआईएम) को नगर निगमों में 19 पार्षद, तीन नगर पालिका परिषदों के अध्यक्ष और 30 सभासदों के अलावा छह नगर पंचायतों के अध्यक्ष पदों पर भी चुनाव जीतने में सफलता मिली है। इसके अलावा, आम आदमी पार्टी (आप) ने नगर निगमों के आठ पार्षद, तीन नगर पालिका परिषदों के अध्यक्ष और 33 सभासद तथा दो नगर पंचायतों के अध्यक्ष पदों पर चुनाव जीता है।
पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह के पौत्र जयंत चौधरी के नेतृत्व वाले राष्ट्रीय लोकदल (रालोद) ने नगर निगमों में 10 पार्षद, सात नगर पालिका परिषदों के अध्यक्ष और 40 सभासद तथा सात नगर पंचायत अध्यक्ष के पदों पर अपनी जीत दर्ज करायी है।
नगर पालिका परिषदों में सबसे आखिरी में मैनपुरी का परिणाम रविवार दोपहर घोषित किया गया, जहां भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की उम्मीदवार संगीता गुप्ता ने 27912 मत पाकर अपनी निकटतम प्रतिद्वंद्वी समाजवादी पार्टी (सपा) की सुमन को पराजित किया। सुमन को 22685 मत मिले। यहां कुल नौ उम्मीदवारों में बसपा की रेखा पांडेय चौथे स्थान पर पहुंच गईं, जबकि निर्दलीय नेहा ने तीसरा स्थान हासिल किया।
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मैनपुरी को समाजवादी पार्टी का गढ़ माना जाता है और सपा संस्थापक मुलायम सिंह यादव के निधन के बाद उनके प्रतिनिधित्व वाली मैनपुरी संसदीय सीट पर हालिया उपचुनाव में उनके पुत्र सपा प्रमुख अखिलेश यादव की पत्नी डिंपल यादव ने भारी बहुमत से चुनाव जीता था। ऐसे में मैनपुरी नगर पालिका परिषद के अध्यक्ष पर भाजपा की जीत को यादव के लिए बड़ा झटका माना जा रहा है।
डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने ट्वीट किया था, ‘‘मैनपुरी में अब भी मतगणना जारी है… धीरे हुई है या धीरे की जा रही है?’’
उन्होंने इसके पहले एक अन्य ट्वीट में आरोप लगाया था, ‘‘उप्र में भाजपा चुनाव जीतने के लिए अपने हर पैंतरे का इस्तेमाल कर रही है। हारती जगहों पर मतगणना धीमे करवा रही है। कुल वोट से अधिक गिनती होने पर तकनीकी गलती बता रही है। अधिकारियों पर दबाव डालकर मनमाने तरीके से फिर से गणना करवा रही है। भाजपा फरेबी मतगणना से जीत रही है, मतदान से नहीं।’’
आयोग के अनुसार, जौनपुर जिले की नगर पंचायत खेतासराय सीट पर सपा के वसीम अहमद ने 4215 मत पाकर चुनाव जीता जबकि उनके निकटतम प्रतिद्वंद्वी भाजपा के रुपेश को 4151 मत मिले। सपा-भाजपा की कांटे की इस टक्कर में एआईएमआईएम तीसरे स्थान पर रही जबकि बसपा पांचवे स्थान पर खिसक गयी। चौथा स्थान निर्दलीय उम्मीदवार का है।
इसके अलावा, रामपुर जिले में एक नगर पंचायत के वार्ड सदस्य का भी परिणाम घोषित हो गया है। सबसे आखिरी में रामपुर में 88 नगर पंचायत सदस्यों के पद में बचे एक वार्ड सदस्य के पद पर भी परिणाम घोषित हो गया है।
गौरतलब है कि उप्र में दो चरणों में चार मई और 11 मई को नगर निकाय चुनावों के लिए मतदान हुआ और 13 मई से मतगणना शुरू होकर 14 मई रविवार की दोपहर तक जारी रही।