देश अन्याय के दौर में है, सद्भाव और भाईचारे वाला दृष्टिकोण पेश करेंगे
कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने रविवार को यहां 'भारत जोड़ो न्याय यात्रा' की शुरुआत की और कहा कि यह यात्रा इसलिये निकालनी पड़ी, क्योंकि देश बड़े अन्याय के दौर से गुजर रहा है। पढ़ें पूरी रिपोर्ट डाइनामाइट न्यूज़ पर
इंफ़ाल: कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने रविवार को यहां 'भारत जोड़ो न्याय यात्रा' की शुरुआत की और कहा कि यह यात्रा इसलिये निकालनी पड़ी, क्योंकि देश बड़े अन्याय के दौर से गुजर रहा है।
उन्होंने यह भी कहा कि देश के सामने एक ऐसा दृष्टिकोण रखा जाएगा, जो नफरत और हिंसा पर आधारित नहीं होगा, बल्कि सद्भाव, भाईचारे और समान भागीदारी वाला होगा।
उन्होंने मणिपुर हिंसा का उल्लेख करते हुए दावा किया कि राज्य (मणिपुर) में जो हुआ, वो भाजपा, आरएसएस की नफरत की राजनीति का प्रतीक है।
डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार राहुल गांधी ने कहा कि देश में एकाधिकार कायम किया जा रहा है और बड़े पैमाने पर कारोबार बंद हो गए हैं तथा भयंकर बेरोजगारी है।
उन्होंने कटाक्ष करते हुए कहा, ''हम अपने मन की बात नहीं बताना चाहते, हम आपके मन की बात सुनना चाहते हैं।’’
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उन्होंने कहा, ‘‘29 जून को मैं मणिपुर आया था और उस दौरे में जो मैंने देखा, जो सुना,… मैंने पहले कभी नहीं देखा था, नहीं सुना था। 2004 से मैं राजनीति में हूं, पहली बार मैं हिंदुस्तान के एक प्रदेश में गया, जहाँ शासन का पूरा का पूरा ढांचा ध्वस्त हो गया था।’’
उन्होंने दावा किया, ‘‘जिसको हम मणिपुर कहते थे, 29 जून के बाद वो मणिपुर रहा ही नहीं…, बंट गया, कोने-कोने में नफ़रत फैली, लाखों लोगों को नुकसान हुआ, भाई-बहन, माता-पिता आंखों के सामने मरे।’’
गांधी ने दावा किया, ‘‘आज तक हिंदुस्तान के प्रधानमंत्री मणिपुर में आपके आंसू पोंछने, आपसे गले लगने, आपका हाथ पकड़ने नहीं आए... शर्म की बात है। शायद नरेन्द्र मोदी जी के लिए, भाजपा और आरएसएस के लिए मणिपुर हिंदुस्तान का भाग ही नहीं है।’’
उन्होंने कहा, ‘‘सवाल उठता है कि न्याय यात्रा क्यों? क्योंकि हम भारत में बड़े अन्याय के दौर से गुजर रहे हैं। सामाजिक, आर्थिक और राजनीतिक अन्याय... सिर्फ मणिपुर के लोगों, मणिपुर की परंपराओं के खिलाफ अन्याय नहीं है , बल्कि पूरे देश में अन्याय है।’’
उन्होंने दावा किया, ‘‘आर्थिक दृष्टि से एकाधिकार स्थापित हो रहा है और कुछ लोगों की देश की सारी संपत्तियों तक पहुंच है। अधिकतर व्यवसाय, छोटे और मध्यम व्यवसाय नष्ट हो रहे हैं। बड़े स्तर की बेरोजगारी, बड़े पैमाने पर महंगाई का सामना पूरा भारत कर रहा है।’’
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उन्होंने कहा, ‘‘दलितों, आदिवासियों की देश की शासन व्यवस्था में कोई कारगर दखल नहीं है... ये वे मुद्दे हैं, जिन्हें हम 'भारत जोड़ो न्याय यात्रा' उठाने जा रहे हैं।’’
कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष ने कहा, ‘‘हिंदुस्तान का जो अगला विज़न होगा…, वह हिंसा का नहीं, नफ़रत का नहीं, एकाधिकार का नहीं, बल्कि सद्भाव, समुचित भागीदारी और भाईचारे का दृष्टिकोण होगा, जिसे हम आपके साथ मिलकर, आपकी आवाज़ सुनकर हिंदुस्तान के सामने रखने जा रहे हैं। ’’
बाद में उन्होंने 'एक्स' पर पोस्ट किया, ‘‘न्याय की हुंकार के रूप में, देश भर में हो रहे भयंकर अन्याय के विरुद्ध, आज से भारत जोड़ो न्याय यात्रा की शुरुआत हो चुकी है।''
राहुल गांधी ने कहा, ‘‘हम जन की बात सुनने आ रहे हैं, मन की बात सुनाने नहीं। हम जनता का दुख-दर्द समझने, उनसे संवाद करने आ रहे हैं। और इसी ज़मीनी संवाद से निकलेगा शांतिपूर्ण, समृद्ध और शक्तिशाली भारत के निर्माण का दृष्टिकोण।’’
उन्होंने कहा कि ‘भारत का दृष्टिकोण’ पेश करना है, जिसका आधार समानता, भाईचारा और सद्भाव हो, जिसमें नफ़रत, हिंसा और एकाधिकार के लिये कोई जगह न हो।