कौशांबीः मां को जिंदा साबित करने के लिए दर-दर भटक रहा दिव्यांग बेटा, जानिये पूरा मामला

डीएन ब्यूरो

डीएम मधुसूदन हुल्गी ने कहा कि लापरवाही पर एक्शन लिया जाएगा। जल्द पेंशन बहाली के लिए कहा गया है। पढ़िये डाइनामाइट न्यूज़ की पूरी रिपोर्ट

बुजुर्ग महिला को लापरवाह अधिकारियों ने घोषित किया मृत (फोटो- सोशल मीडिया)
बुजुर्ग महिला को लापरवाह अधिकारियों ने घोषित किया मृत (फोटो- सोशल मीडिया)


लखनऊः उत्तर प्रदेश के कौशांबी जिले में एक हैरान करने वाला मामला सामने आया है। यहां पिछले ढाई साल से एक दिव्यांग बेटा अपनी बुजुर्ग मां को जीवित साबित करने के लिए अधिकारियों के चक्कर लगाता रहा, लेकिन किसी ने फरियाद नहीं सुनी। हालांकि अब जिलाधिकारी ने कार्रवाई के आदेश दे दिए हैं। इसके साथ ही उन्होंने अधिकारियों को जल्द ही पेंशन बहाली के लिए भी कहा है। 

डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार, मामला कौशांबी के मंझनपुर तहसील के काटीपार गांव है। आरोप है कि अधिकारियों ने 70 वर्षीय राजकुमारी देवी को कागजों में मृत दिखा कर वृद्धा पेंशन रोक दी। पेंशन से ही राजकुमारी और उनके दिव्यांग बेटे का किसी तरह से जीवन यापन हो रहा था। वहीं, मामला संज्ञान में आने के बाद डीएम मधुसूदन हुल्गी ने कहा कि हम लोगों ने संबंधित अधिकारी से बात की है।लापरवाही पर एक्शन लिया जाएगा। इसके साथ ही उन्होंने बताया कि अधिकारियों को जल्द ही पेंशन बहाली के निर्देश दे दिए गए हैं। 

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ढाई साल से काट रहे चक्कर 

राजकुमारी अपने दिव्यांग बेटे के साथ पिछले ढाई साल से विकास भवन के चक्कर लगा रही हैं। गर्मी हो या सर्दी वो बेटे के साथ उसकी ट्राई साइकिल से अधिकारियों के पास पहुंच जाती हैं और फरियाद लगाती हैं। लेकिन अधिकारी कोई सुनवाई नहीं करते। आखिर में वो फरियाद लेकर डीएम के पास पहुंचीं और मामले की शिकायत की। 

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वहीं, उनके दिव्यांग बेटे राम बहादुर का कहना है कि मेरी मां को वृद्धा पेंशन मिलती थी, जिससे घर का खर्च चल रहा था। करीब ढाई साल से मेरी मां को समाज कल्याण विभाग के अधिकारियों द्वारा कागजों में मृत दिखा दिया गया, जिसके बाद से मैं अपनी मां को ट्राई साइकिल पर बैठाकर 30 किलोमीटर दूर अधिकारियों के पास आता हूं, लेकिन कोई सुनने वाला नहीं है। 










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