बलरामपुर में इस बार अलग अंदाज में मनाई जायेगी होली

डीएन ब्यूरो

बलरामपुर जनपद में जिले में इस बार अलग अंदाज में होली मनायी जायेगी। पढ़िए डाइनामाइट न्यूज़ की रिपोर्ट

हर्बल गुलाल तैयार करती महिलाएं
हर्बल गुलाल तैयार करती महिलाएं


बलरामपुर: इस बार होली में रसायनयुक्त अबीर-गुलाल के बजाय लोग हर्बल गुलाल से रंगों का पर्व मनाएंगे। जिले में हर्बल गुलालो की मांग बढ़ी तो महिलाओं ने इसे अपने रोजगार से जोड़ा। स्वयं सहायता समूह की महिलाएं जिले भर में हर्बल गुलाल, अबीर बनाने में जुटी है और उसकी बिक्री कर स्वालंबी बन रही है।

डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार, विभिन्न ब्लॉकों के स्वयं सहायता समूह की महिलाएं मंदिरों से निकलने वाले फूलों, चुकंदर, आरारोट आदि से गुलाल व अबीर तैयार कर रही हैं। इन हर्बल रंगों से त्वचा पर कोई दुष्प्रभाव नहीं पड़ेगा। इससे बने गुलाल की जिले में खासी मांग है।

यह है हर्बल गुलाल बनने की विधि

हर्बल रंग व गुलाल बनाने के लिए फूलों, पत्तियों, बीजों और सब्जियों का उपयोग किया जाता है। लाल रंग के लिए चुकंदर को उबालकर या सुखाकर पाउडर बनाया जाता है। गुड़हल के फूल को सुखाकर बारीक पीसकर तथा अनार के छिलकों को पानी में उबालकर लाल रंग तैयार किया जाता है।

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हल्दी, बेसन या आटे के साथ मिलाकर सूखा रंग बनाया जाता है। गेंदे के फूल को सुखाकर या पानी में उबालकर घोल बनाया जाता है। पालक और मेथी की पत्तियों को पीसकर या सुखाकर पाउडर तैयार किया जाता है। जो कि गुलाल को रंग देने के लिए किया जाता है।

200 महिलाएं तैयार कर रहीं हर्बल गुलाल

एनआरएलएम के जिला मिशन प्रबंधक अखिलेश मौर्या ने बताया कि सदर विकास खंड के सिरसिया बहादुरापुर में लक्ष्मी समूह की रेखा 10 महिलाओं के साथ गुलाल तैयार कर रही हैं। गैसड़ी ब्लॉक की नंदनी समूह की 11 महिलाएं भी इस काम में जुटी हैं। इसके अलावा उतरौला, रेहरा बाजार, गैड़ास बुजुर्ग, तुलसीपुर व शिवपुरा आदि ब्लॉक क्षेत्रों में करीब 200 महिलाएं हर्बल गुलाल बना रही हैं।

स्टालों से हो रही बिक्री

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बाजारों के अलावा स्वयं सहायता समूह की महिलाएं स्टाल लगाकर भी गुलाल के साथ साथ चिप्स पापड़ आदि बेचने का काम कर रही है। मंगलवार से ब्लॉकों एवं विकास भवन सभागार में हर्बल गुलाल की बिक्री के लिए स्टॉल लगाए गए है। 

जिम्मेदार के बोल

स्वयं सहायता समूह की महिलाओं द्वारा तैयार किए गए हर्बल गुलाल, पापड़ और चिप्स की बिक्री के लिए विकास भवन व ब्लॉक मुख्यालयों पर स्टॉल लगाए जाएंगे। सभी विभागों के अधिकारी व कर्मचारी इन उत्पादों की खरीदारी कर रहे हैं। स्वयं सहायता समूह की महिलाओं को स्वरोजगार के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है।










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