नई दिल्ली: नवलखा की याचिका पर सोमवार को उच्चतम न्यायालय में सुनवाई
उच्चतम न्यायालय में सोमवार को मानवाधिकार कार्यकर्ता गौतम नवलखा की एक याचिका पर सुनवाई होने की संभावना है, जो एल्गार परिषद-माओवादी संपर्क मामले में नजरबंद हैं।
नई दिल्ली: उच्चतम न्यायालय में सोमवार को मानवाधिकार कार्यकर्ता गौतम नवलखा की एक याचिका पर सुनवाई होने की संभावना है, जो एल्गार परिषद-माओवादी संपर्क मामले में नजरबंद हैं।
नवलखा ने अपनी याचिका में न्यायालय से अनुरोध किया है कि उन्हें मुंबई स्थित एक पुस्तकालय से शहर में किसी अन्य स्थान पर भेजा जाए। उन्होंने इसके पीछे यह कारण बताया है कि पुस्तकालय को खाली करने की जरूरत है।
न्यायमूर्ति के. एम. जोसेफ और न्यायमूर्ति बी. वी. नागरत्ना की पीठ ने 28 अप्रैल को केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) को नवलखा की याचिका पर दो हफ्तों के अंदर अपना जवाब दाखिल करने का निर्देश दिया था।
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इसके अलावा, शीर्ष न्यायालय ने नवलखा को उनकी सुरक्षा के लिए पुलिसकर्मी उपलब्ध कराने पर आने वाले खर्च के वास्ते और आठ लाख रुपये जमा करने का निर्देश दिया था।
न्यायालय ने पिछले साल 10 नवंबर को उनकी नजरबंदी का आदेश देते हुए शुरूआत में नवलखा को पुलिसकर्मी उपलब्ध करने में राज्य सरकार को आने वाले खर्च के रूप में 2.4 लाख रुपये जमा करने का निर्देश दिया था।
शीर्ष न्यायालय ने उक्त आदेश के बाद, नवलखा की नजरबंदी की अवधि को कई बार बढ़ाया है।
यह मामला पुणे में 31 दिसंबर 2017 को एल्गार परिषद में कथित तौर पर भड़काऊ भाषण देने से संबद्ध है। पुलिस का दावा है कि इस कार्यक्रम के अगले दिन शहर के बाहरी इलाके में कोरेगांव-भीमा युद्ध स्मारक पर हिंसा भड़क गई थी।