एफटीआईआई में दिखाई गई ‘द केरल स्टोरी’, जानें क्यों हुआ विरोध प्रदर्शन
छात्रों के एक समूह के विरोध प्रदर्शन के बीच शनिवार को पुणे स्थित ‘भारतीय फिल्म और टेलीविजन संस्थान’ (एफटीआईआई) के मुख्य थिएटर में फिल्म ‘द केरल स्टोरी’ की विशेष स्क्रीनिंग की गई। पढ़िये पूरी खबर डाइनामाइट न्यूज़ पर
पुणे/मुंबई: छात्रों के एक समूह के विरोध प्रदर्शन के बीच शनिवार को पुणे स्थित ‘भारतीय फिल्म और टेलीविजन संस्थान’ (एफटीआईआई) के मुख्य थिएटर में फिल्म ‘द केरल स्टोरी’ की विशेष स्क्रीनिंग की गई।
डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के अनुसार, कार्यक्रम स्थल पर बड़ी तादाद में पुलिस बल के तैनात होने के बावजूद, एफटीआईआई छात्र संघ ने विरोध प्रदर्शन किया और दावा किया कि छात्र समुदाय को शो के बारे में सूचित नहीं किया गया था।
सूत्रों ने कहा कि एमआईटीईई फिल्म सोसाइटी द्वारा आयोजित स्क्रीनिंग सुबह 9.30 बजे शुरू होने वाली थी, लेकिन इसमें एक घंटे की देरी हुई।
मुख्य थिएटर के बाहर प्रदर्शन किया गया और ड्रम बजाने के बीच नारेबाजी की गई।
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प्रदर्शनकारी छात्रों में से एक ने दावा किया, 'हम इस स्क्रीनिंग के खिलाफ हैं, क्योंकि संस्थान के छात्र समुदाय को सूचित नहीं किया गया था।'
‘द केरल स्टोरी’ के निर्देशक सुदीप्तो सेन ने परिसर का दौरा किया और प्रदर्शनकारी छात्रों से बातचीत की।
सेन ने कहा, 'कुछ छात्रों को थिएटर में प्रवेश नहीं करने दिया गया। हमने छात्रों से बात की। परिसर में कानून व्यवस्था संबंधी कोई स्थिति नहीं बनी। हमने एफटीआईआई का चयन नहीं किया। हम यहां तब आए, जब हमें आमंत्रित किया गया था।'
‘द केरल स्टोरी’ पांच मई को रिलीज हुई थी। इस फिल्म में दिखाया गया है कि केरल में किस प्रकार महिलाओं को इस्लाम अपनाने के लिए बाध्य किया गया और किस तरह उन्हें आतंकवादी समूह इस्लामिक स्टेट (आईएस) के चंगुल में धकेला गया। इस फिल्म में अभिनेत्री अदा शर्मा ने मुख्य भूमिका निभाई है। विपुल शाह की ‘सनशाइन पिक्चर्स’ ने इस फिल्म का निर्माण किया है।
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पश्चिम बंगाल सरकार ने समुदायों के बीच तनाव पैदा हो सकने की आशंका के मद्देनजर आठ मई को फिल्म पर प्रतिबंध लगा दिया था। तमिलनाडु के सिनेमाघरों ने भी कानून-व्यवस्था की स्थिति और दर्शकों की कम संख्या का हवाला देते हुए सात मई से इसकी स्क्रीनिंग बंद करने का फैसला किया था।
बहरहाल, उच्चतम न्यायालय ने ‘द केरल स्टोरी’ के प्रदर्शन पर पश्चिम बंगाल सरकार द्वारा लगाए गए प्रतिबंध को बृहस्पतिवार को हुई सुनवाई के दौरान हटाने का आदेश दिया। न्यायालय ने तमिलनाडु से फिल्म देखने जाने वालों की सुरक्षा सुनिश्चित करने को कहा।