महराजगंज जिले की सबसे बड़ी खबर: दो साल से जमे विवादित शहर कोतवाल रवि कुमार राय आखिरकार हटाये गये, 13 सिपाही और कोतवाल लाइनहाजिर
लगभग दो साल से महराजगंज के शहर कोतवाल की कुर्सी पर रहे जबरदस्त विवादित पुलिस इंस्पेक्टर रवि कुमार राय सहित कोतवाली अंतर्गत नगर चौकी के 13 सिपाहियों को लाइन हाजिर कर दिया गया है। डाइनामाइट न्यूज़ एक्सक्लूसिव:
महराजगंज: शहर कोतवाल रवि कुमार राय और 13 सिपाहियों को लाइन हाजिर कर दिया गया है। लगभग दो साल से महराजगंज कोतवाली के थानेदार रहे रवि कुमार राय जबरदस्त विवादों में घिरे रहे।
कैसे अपने स्वार्थ के मुताबिक अनुभवहीन उच्च अफसरों को गुमराह करना है, इस बात की नयी परिपाटी जिले में विवादित कोतवाल रवि कुमार राय ने लिख डाली।
डाइनामाइट न्यूज़ संवाददाता के मुताबिक शहर के एक संगीन मामले को लेकर महकमे के बड़े अफसरों के बीच में आपस में ही तलवारें खींच चुकी थीं। आखिरकार नतीजा कोतवाल के खिलाफ गया और इनको लाइन हाजिर कर दिया गया। ये तो गये ही साथ ही अपने काले-कारनामों की वजह से 13 सिपाहियों को भी ले बीते। कोतवाली के अंतर्गत आने वाली नगर चौकी के तेरह सिपाहियों को भी लाइन हाजिर कर दिया गया है।
मुख्यमंत्री भी कर चुके हैं बेइज्जत
बात मार्च 2021 की है। इंस्पेक्टर रवि कुमार राय गुलरिहा के थानेदार थे। यहां हत्या के मामले में उन्होंने गजब का कांड कर डाला। इसकी पोल खुली मुख्यमंत्री के जनता दर्शन में। बेलीपार थाना के चेरिया निवासी मीना देवी ने सीएम के पास पहुंच बताया कि उसके बेटे की हत्या के मामले में आरोपियों को रवि राय ने गिरफ्तार तक नहीं किया और उल्टे बचाने के लिए फाइनल रिपोर्ट लगा दी। यह सुन सीएम बहुत नाराज हुए। इसके बाद एसएसपी जोगेन्द्र कुमार को विस्तृत जांच के लिए कहा। फिर दो अपर पुलिस अधीक्षकों ने जांच में रवि राय को दोषी पाने के बाद गोरखपुर में इसे लाइन हाजिर किया गया। सीएम के सामने जब इसकी पूरी पोल खुल गयी तब इसने बचने के लिए गोरखपुर से अपना तबादला महराजगंज करा लिया।
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CJM ने दिया रवि राय के खिलाफ FIR का आदेश
साल 2021 में गोरखपुर जिले के गुलरिहा थाना क्षेत्र के सराय गुलरिहा गांव में हत्या के प्रयास से संबंधित एक मामले में CJM दीपक नाथ सरस्वती ने तत्कालीन थानेदार रवि राय के खिलाफ FIR दर्ज करने का आदेश दिया था।
उच्च अफसरों को लड़ाने और गुमराह करने में माहिर है रवि राय
डाइनामाइट न्यूज़ को चौंकाने वाली जानकारी मिली है। कोतवाल रवि कुमार राय गजब का घाघ है और महकमे का पुराना चावल। अपने स्वार्थ की पूर्ति के लिए कैसे जिले के अंदर और जिले के बाहर बड़े अफसरों को लड़ाना है... कोई इससे सिखे। सबसे पहले यह अपने निशाने पर लेता है महकमे के अनुभवहीन अफसरों को। फिर यह अपनी शातिर चालें चलता है। अंदर की खबर है कि इसने जिले के एक पुलिस अफसर को जोन के एक बड़े पुलिस अफसर से लड़ा दिया। यही नहीं जिले के अफसर को इसने इसी जिले के एक अन्य अफसर से लड़ा दिया। इन दोनों मामलों की महकमे के अंदर महराजगंज से लेकर गोरखपुर तक गजब की चर्चा है।
बड़े अफसरों को झूठी सूचनायें देने में है माहिर
डाइनामाइट न्यूज़ को चौंकाने वाली जानकारी मिली है। पुलिसिया सूत्रों का कहना है कि दो साल के विवादित कार्यकाल के दौरान अधिकांश मामलों में यह अपनी सुविधा के हिसाब से जिले के बड़े अफसरों को रिपोर्ट देता था, इससे भी अधिक हैरानी की बात यह है कि ये अफसर इसके झांसे में आकर गोरखपुर और लखनऊ तक इसकी झूठी रिपोर्ट को सच मान अपनी मुहर लगाते जाते थे।
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दो साल के कार्यकाल की SIT से जांच की मांग
शहर के तमाम लोग कोतवाल के दो साल के कार्यकाल की SIT से विस्तृत जांच की मांग कर रहे हैं। इनका कहना है कि जिन भी हाई-प्रोफाइल मामलों की जांच कोतवाल ने की है और उनमें FR या चार्जशीट भेजी है, उनकी विस्तृत जांच SIT बनाकर की जाय तो उसमें मीना देवी के साथ हुए घनघोर अत्याचार जैसे कई मामलों का भंड़ाफोड़ होगा।
आनंद गुप्ता संभालेंगे महराजगंज कोतवाली की कमान
रवि राय की छुट्टी के बाद महराजगंज शहर का नया कोतवाल फरेन्दा के थानेदार आनंद कुमार गुप्ता को बनाया गया है। जबकि फरेन्दा का नया थानेदार अजीत कुमार सिंह को बनाया गया है।