Ghaziabad Murder Case: कांस्टेबल मर्डर मामले में 10 साल बाद आया नया मोड़, जानिए अब आरोपी के साथ क्या हुआ?
गाजियाबाद के एक कांस्टेबल की हत्या मामले में कोर्ट ने 10 साल बाद फैसला सुनाया है। जिसके बाद आरोपी को कड़ी सजा सुनाई गई है। पढ़िए डाइनामाइट न्यूज पर पूरी रिपोर्ट

गाजियाबाद: लोनी में दस साल पहले हुए पुलिस कांस्टेबल की हत्या के मामले में अदालत ने बड़ा फैसला सुनाया है।
डाइनामाइट न्यूज संवाददाता अनुसार, अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश शिवकुमार तिवारी की अदालत ने दोषी ओमकार उर्फ ग्यासी खड़खड़ी को आजीवन कठोर कारावास की सजा सुनाई है। साथ ही अदालत ने दोषी पर 12 हजार रुपये का अर्थदंड भी लगाया है।
जानें, क्या था पूरा मामला
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घटना 25 अप्रैल 2015 की है, जब लोनी थाने में तैनात कांस्टेबल सुदेश कुमार बंथला चौकी के गेट पर निगरानी कर रहे थे। उनके साथ कांस्टेबल अजय शंकर भी मौजूद थे। रात करीब 8:10 बजे तीन युवक चिरोड़ी की ओर से आते हुए दिखाई दिए। कांस्टेबल सुदेश कुमार ने उन्हें रुकने के लिए कहा, लेकिन वे भागने लगे। इस पर सुदेश कुमार ने उन्हें रोकने की कोशिश की, तभी एक युवक ने पिस्टल निकालकर सुदेश कुमार के सीने पर सटाकर गोली चला दी। गोली लगते ही सुदेश कुमार जमीन पर गिर गए और उनकी मौके पर ही मौत हो गई।
हमलावरों को पुलिस ने दबोचा
घटना के बाद दोनों कांस्टेबल ने चौकी से अन्य पुलिसकर्मियों को बुलाया और घायल सुदेश कुमार को नरेंद्र मोहन अस्पताल ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया। इस दौरान कांस्टेबल अजय शंकर ने देखा कि हमलावर लोनी के खड़खड़ी का रहने वाला ओमकार उर्फ ग्यासी था, जो पहले से ही कई मामलों में वांछित था। हमलावरों ने अजय शंकर और अन्य पुलिसकर्मियों पर भी फायरिंग की, लेकिन वे किसी तरह बचकर भागने में सफल रहे।
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10 गवाहों और 17 साक्ष्य पेश हुए
घटना के तुरंत बाद पुलिस ने केस दर्ज कर जांच शुरू की थी। मामले की सुनवाई के दौरान पुलिस ने अदालत में 10 गवाहों के बयान दर्ज कराए और 17 साक्ष्य प्रस्तुत किए। सभी साक्ष्यों और गवाहों की गवाही के आधार पर अदालत ने दोषी को आजीवन कठोर कारावास की सजा सुनाई और 12 हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया।